पीलीभीत. उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के पीलीभीत रजिस्ट्री ऑफिस के इतिहास में बुधवार का दिन यानी 8 सितंबर इतिहास में दर्ज हो गया. इस जिले के इतिहास की सबसे बड़ी रजिस्ट्री यानी ज़मीन की खरीद फरोख्त (Land Purchsse) 8 सितंबर को कराई गई, जिसमें स्टाम्प ड्यूटी 5 करोड़ रुपए से ज्यादा की लगाई गई थी. जबकि रजिस्ट्री फीस 72 लाख 94 हजार 820 रुपए की लगी. यह रजिस्ट्री बेंगलुरु की एक प्राइवेट कंपनी ने कराई है.

दरअसल, पीलीभीत जिले के अमरिया तहसील में पड़ने वाला गांव भरा पचपेड़ा में एक खमीर फैक्ट्री लगाने का प्रस्ताव पास हुआ है, जो राज्य सरकार की तरफ से था. इसको लेकर जिला प्रशासन ने भी कमर कसी और उसने 257 एकड़ जमीन को ढूंढ निकाला और जिसकी शुरुआत कल यानी 8 सितंबर को हो गई. यानी कि बुधवार को इस काम के लिए जमीन की रजिस्ट्री करा ली गई.

किसने कराई रजिस्ट्री
बैंगलोर की एक प्राइवेट कंपनी एबी मौरी प्राइवेट लिमिटेड बैंगलोर ने इस रजिस्ट्री को कंपनी के डायरेक्टर विश्वनाथ मन्ना के नाम करवाया है. जिसका हेड ऑफिस ऑस्ट्रेलिया में है और इस खमीर फैक्ट्री को लगाने के लिए ऑस्ट्रेलिया से ही करार हुआ है. जिसकी 257 एकड़ जमीन की रजिस्ट्री हो गई है और इसमें 5 करोड़ 10 लाख 64 हजार रुपया का स्टांप लगा है, जबकि रजिस्ट्री फीस 72 लाख 94 हजार 820 रुपए की लगी.

फैक्ट्री लगने पर सैकड़ों लोगों को मिलेगा रोजगार
कोरोना काल के संकट से उभरने के लिए सरकार ने लगभग सभी जिलों में प्रवासी मजदूरों व स्थानीय लोगों के लिए रोजगार मिले, इसके लिए उसने भरपूर कदम उठाएं. जिसके तहत पीलीभीत में भी खमीर की फैक्ट्री लगाने का प्रस्ताव पारित हुआ. इस फैक्ट्री के लगने के बाद यहां के तकरीबन पंद्रह सौ लोगों को प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से रोजगार मिलेगा, जिससे जिले में तरक्की के रास्ते भी खुलेंगे.

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