कोरोना के इस आपदा में लोग अवसर खोजने से बाज नहीं आ रहे हैं। जगह-जगह से रेमडेसिविर की कालाबाजारी की खबरें सामने आ रही हैं। झांसी में रेमडेसिविर इंजेक्शन को लेकर चारों ओर मचे हाहाकार के बीच एसटीएफ को बड़ी कामयाबी मिली है। एसटीएफ ने रेमडेसिविर की खाली शीशी में डिस्टिल वाटर मिलाकर उसे ऊंची कीमत पर बेचने वाले बड़े गिरोह को धर दबोचा। मास्टर माइंड समेत गिरोह के छह सदस्य एसटीएफ के हत्थे चढ़ गए, जबकि एक मौके से फरार हो गया।
2.5 लाख समेत कई सामान बरामद
पुलिस ने इनके पास से ढाई लाख रुपये समेत इंजेक्शन की कई खाली शीशियां भी बरामद की हैं। पकड़े गए आरोपियों में तीन मेडिकल कॉलेज में संविदाकर्मी हैं, जबकि शेष प्राइवेट नर्सिंग होम में काम करते हैं। एसटीएफ कई दिनों से इनकी तलाश में थी। गिरोह की भनक लगने पर शुक्रवार रात एसटीएफ के एक सिपाही को तीमारदार बनाकर भेजा गया। उसके साथ पचास हजार रुपये में सौदा तय हुआ। पुलिस ने छापेमारी कर चार को मौके से पकड़ लिया।
गैंग में संविदा कर्मचारी
एसटीएफ की पूछताछ के बाद गैंग के दो और पकड़ लिए गए। पूछताछ के दौरान मालूम चला कि महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज में संविदा पर काम करने वाले तीन कर्मचारी यह काम पिछले कई माह से कर रहे थे। रेमडेसिविर की मांग होने पर मेडिकल कॉलेज के स्टोर से निकालकर उसे बेच देते। उसके बाद खाली शीशी में डिस्टिल वाटर के साथ कुछ एंटीबायोटिक मिलाकर स्टोर में जमा कर देते। अप्रैल महीने की शुरुआत से जब डिमांड एक बारगी काफी बढ़ गई तब इन्होंने खाली शीशियों के लिए मेडिकल कॉलेज गेट नंबर एक पर स्थित मेडिकल स्टोर में काम करने वाले विशाल विरथरे समेत प्राइवेट नर्सिग होम में काम करने वाले हिमांशु, हरेंद्र, मानवेंद्र, सचिन से संपर्क किया और सभी को अपने साथ मिला लिया। यह सभी ग्राहक भी लेकर आते थे।
गैंग ऐसे करता था काम
एसटीएफ की पूछताछ ने आरोपियों ने बताया कि आसपास के नर्सिग होम में जितनी भी शीशियां खाली होती थीं, ये लोग अपने संपर्क से उसे अपने पास मंगा लेते थे। खाली शीशियों में डिस्टिल वाटर समेत एंटीबायोटिक मिलाकर ग्राहकों को ऊंची कीमत पर बेच दिया जाता था। एसटीएफ के मुताबिक पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि जो इंजेक्शन बाहर से आते थे, वह मरीज को नहीं लगाते थे। जानबूझकर विलंब करके मरीज के मरने का इंतजार करते थे। मरीज के मरते ही इंजेक्शन गायब कर देते थे। इसके साथ ही एसटीएफ ने आरोपियों की निशानदेही पर ढाई लाख रुपये नकद समेत एक दर्जन रेमडेसिविर की खाली शीशियां भी बरामद की हैं। एसटीएफ ने सभी को गिरफ्तार कर लिया है लेकिन, एक पुलिस को चकमा देकर फरार हो गया।
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