फिरोजाबाद- जिलाधिकारी चंद्रविजय सिंह ने बताया है कि मत्स्य उत्पादन अनुभाग द्वारा प्राविधानुसार उत्तर प्रदेश फिशरीज एक्ट-1948, यू0पी0एक्ट सं0 एक्स0 एल0 वी0 ऑफ 1948 को जनपद में पूर्व से ही लागू किया जा चुका है। मत्स्य संरक्षण की दृष्टि से इस एक्ट के प्रावधानुसार यह कार्य प्रतिबंधित रहेंगे। जनपद में अवैध रूप से मत्स्य आखेट प्रतिबंधित रहेगा, जनपद के अंतर्गत प्रवाहित होने वाली नदियों एवं जल प्रणालियों में प्रजनन योग्य मछलियों की शिकारमाही प्रजनन काल 15 जून 2021 से 30 जुलाई 2021 तक, एवं 15 जुलाई 2021 से 30 सितंबर 2021 तक की अवधि में फ्राई से फिंगर लिंग्स को पकड़ने, नष्ट करने एवं बेचने का प्रतिबंध लगाया है। इस प्रकार उक्त प्रतिबंध के क्रम में जनपद के अंतर्गत 01 जून से 31 अगस्त 2021 तक नदियों में मत्स्य आखेट को प्रतिबंधित किया है। प्रजनन योग्य मछलियों के साथ-साथ 05 सेंटीमीटर के छोटे जाल से मछली पकड़ने एवं तालाब, झीलों, नदियों के जल को प्रदूषित करना भी अवैध रहेगा, 1.5 कि0ग्रा0 से कम वजन की रोहू, नैन, कतला, करौंच, सी कार्प मछली पकड़ने व बेचने पर प्रतिबंध रहेगा, मत्स्य विभाग के अधिकारी एवं कर्मचारी अवैध एवं अनियंत्रित शिकारमाही को नियंत्रित करने हेतु प्रभावी कार्यवाही करेंगे।
उन्होने बताया कि मत्स्य आखेट हेतु मत्स्य विभाग से लाइसेंस प्राप्त करना आवश्यक होगा, मत्स्य विभाग एवं राजस्व विभाग के अधिकारी तथा कर्मचारी नदियों के किनारे, ठेकेदारों के वाहन गोदाम चाहे वह कहीं पर हो निरीक्षण कर सकेंगे, विस्फोटक एवं विषैले पदार्थ से पानी को दूषित करना व मत्स्य आखेट अवैध रहेगा। उपरोक्त प्रतिबंध जनपद के समस्त जल प्रणालियों व मत्स्य आखेट से संबंधित व्यक्तियों एवं ठेकेदारों तथा समितियों पर लागू होंगे, उपरोक्त के अतिरिक्त जनपद में विदेशी थाई मांगुर एवं बिगहैड के क्रय विक्रय पर भी प्रतिबंध लगाया है


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